थक चुकी हूँ मैं इस इंतजारी में, और तुम?
कि बने बेहतर, खूबसूरत और मेहरबां दुनिया?
चलो चाकू ले, बींच चीर दे दुनिया देखें, चमडी खा रहे हैं, कौन से कीड़े, दुनिया
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